Saturday, October 31, 2020

जो वर्तमान हैवो परेशान है

जो वर्तमान है
वो परेशान है
जो भूत हो गया
वो शुद्ध हो गया
जो भविष्य में है
वो भाग्यवान है

कोई शस्त्र ना उठा
कोई अस्त्र ना चला
सोच कर बात कर
ये सब मौत का सामान है

सांस बंद हो गई
नब्ज़ भी थम गई
असमय मृत्यु
सृष्टि का अपमान है

ना सुनाई दिया
ना दिखाई दिया
ऐसे दुश्मन पर अटकी
क्यों तेरी जान है

युद्ध के अंत से
जो वाकिफ ना हो
विश्व में क्या ऐसा
कोई इंसान है

जो खत्म हो गया
वह भस्म हो गया
बीती बातों का किस्सा
हजम हो गया

सब हंस कर रहे
सब मिल कर चले
शांति ही सुख का परिधान है

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