हम ने सीने से लगाया, दिल न अपना बन सका,
मुस्कुरा कर तुमने देखा दिल तुम्हारा हो गया.
-जिगर मुरादाबादी
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मुस्कराहट है हुस्न का जेवर,
मुस्कुराना न भूल जाया करो.
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मेरे होठों पे मुस्कराहट है,
गरचे सीने में दाग रखता हूँ.
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दिलों में तल्खियां फिर भी नज़र में मुस्कराहट हो,
बला के हब्स में भी हो हवा ऐसा भी होता है.
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