Wednesday, January 18, 2023

मिलते हैं जब दिल दीवाने

मिलते हैं जब दिल दीवाने,बन जाते कितने अफसाने, 
मिलते हैं जब दिल दीवाने बन जाते कितने अफसाने, 
होती हैं फिर कसमें वफ़ा की, दुनिया से रहते बेगाने। 
मिलते हैं जब दिल दीवाने ----- 

हाल बताऊं कैसे इनका, खोए खोऐ से रहते हैं, 
बातें जो दिल में होती हैं,ये न किसी से भी कहते हैं। 
छुप छुप कर मिलते हैं देखो, ये चाहत के परवाने, 
मिलते हैं जब दिल दीवाने,बन जाते कितने अफसाने। 
मिलते हैं जब दिल दीवाने ----- 

ये आशिक दिलवाले ऐसे , ख़्वाबों में फिरते रहते हैं, 
चाहत की राहों पर चलकर, फिर दर्द वफ़ा में सहते हैं, 
मंजिल की ख़बर नहीं इनको, राहों से भी होते अंजाने, 
मिलते हैं जब दिल दीवाने ----- 

आंखों में सपने हैं कितने, दिल में भी अरमान कई, 
किस्मत के मारे हैं इनको,मिलता ही नहीं आराम कहीं, 
एक प्यार भरा दिल साथ रहे, फिर दुनिया को ये क्या जाने, 
मिलते हैं जब दिल दीवाने ----- 

नशा मोहब्बत का जब होता ,फिर ना कोई नशा होता है, 
अपने हमदम पर मिट जाना, ही इनका मकसद होता है, 
ज़िद में सब खो देते देखो, ये पागल ये दीवाने, 
मिलते हैं जब दिल दीवाने,बन जाते कितने अफसाने। 
होती हैं फिर कसमें वफ़ा की, दुनिया से रहते बेगाने। 
मिलते हैं जब दिल दीवाने ---- 

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