Wednesday, July 15, 2020

उधेड़बुन शायरी

लोग सदमों से मर नहीं जाते
सामने की मिसाल है मेरी
- अनवर शऊर


ख़ुद किया फ़ैसला ख़िलाफ़ अपने
मुश्किलों से उसे निकाल दिया
- तैमूर हसन


फ़ैसले के लिए एक पल था बहुत
एक मौसम गया सोचते सोचते
- नक़्श लायलपुरी


मसअला जब भी चराग़ों का उठा
फ़ैसला सिर्फ़ हवा करती है
- परवीन शाकिर

 
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ज़िंदगी का अजब मामला है
एक लम्हे में फ़ैसला कीजे
- जौन एलिया


चीर कर दिल को दिल से निकली थी
आह को कामयाब होना था
- शंकर लाल शंकर

अक़्ल कुछ और कर के बैठ रही
इश्क़ ने और फ़ैसले किए थे
- जव्वाद शैख़


फ़ासलों का डर किसे था
पांव पर रस्ते लिखे थे
- पूजा भाटिया

हज़ारों मनाज़िर निगाहों में हैं
रुकोगे कहां फ़ैसला तो करो
- नक़्श लायलपुरी

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