Stayin' Alive
आशु तो कुछ भी नहीं आसूँ के सिवा, जाने क्यों लोग इसे पलकों पे बैठा लेते हैं।
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आरज़ू, मुराद शायरी
चाय शायरी
हम तो फ़ना हो गए उनकी आँखें देखकर
कोशिशों से भी क्या नहीं मिलता ।।
उन का ख़याल हर तरफ़ उन का जमाल हर तरफ़
मेहनत ही रंग लाएगी।
बड़ा ही रोमांचक था, जीने का फंडा,
क्यों तेरी ललक रखूं
जब कभी भी तुम्हारा ख़्याल आ गया
बस एक एहसास से हम तेरे हैं !
बस इतनी बात पे माँ शहर आने को नही राजी
जिंदगी के पल शायरी
क्या खूब वहम पालने लगे...
तुम्हारा याद आना भी कमाल होता है
दुख हूं मैं एक नए हिन्दी कवि का
अलाव शायरी
उधर ही ले चलो कश्ती जहां तूफान आया है।
दिनकर
कीजे मुझे क़ुबूल मिरी हर कमी के साथ
तेरा गम रहे सलामत मिरे दिल में क्या नहीं है
गालिब की चुनिंदा ग़ज़लों का एक गुलदस्ता
ठहरो तुम मेरी मोहब्बत की राहों में
जिस्म-ए-यार आ कि बेचारी को सहारा मिल जाए
वो ग़ज़ल की सच्ची किताब है उसे चुपके चुपके पढ़ा करो
ख़याल जिस का था मुझे ख़याल में मिला मुझे
जिस दिन तुमने सरल स्नेह भरमेरी ओर निहारा
जो वो मिरे न रहे मैं भी कब किसी का रहा
मैं गिरते-गिरते सम्भल लूं क्या
बीत जाएगी सारी उम्र इन्हें देखते देखते..
किससे करें उम्मीद
मेरे इंतजार का तू इम्तिहान ना ले
ज़िंदगी जीने को है, जी इसे जीने वाले
चुपके चुपके आती थी वो
जरुरी तो नहीं हर कश्ती का किनारा हो।
वो मेरा कौन है मालूम नहीं है लेकिन
जाने उस शख़्स को कैसे ये हुनर आता है
फिर एक दिन ऐसा आयेगा
तेरा हर कहा मान लेते हैं
फ़िराक़ गोरखपुरी शायरी
क्यों तूने मेरी यादों को बुला लिया
वो चेहरा ख़ूबसूरत है वो आँखें बात करती हैं
ख़्वाब बस ख़्वाब होता है।।
मेरा दिल भीकमाल कर बैठा।
आशिकी शायरी
कौन तुम मेरे हृदय में ? महादेवी वर्मा
बैठकर उलटे सीधे मैं कुछ सोच रहा हूँ
तुम मुझ को उस दिन खो दोगे।
लेकिन मेरा अफ़साना उनके दिल में है.
आशिक मिजाज शायरी
छूट गई वो ख्वाहिशें
स्वप्न झरे फूल से, मीत चुभे शूल से
सर्दी, धूप शायरी
साली क्या है रसगुल्ला है : गोपालप्रसाद व्यास
मुद्दतों के बाद उसकी आंखों मेंहमनें प्यार देखा
अब मै वो जज़्बा-ए-मासूम कहां से लाऊँ
आज वीरान अपना घर देखा - दुष्यंत कुमार
ऐसा फूल सा आप भी बनेंI
अपनों का प्यार वही
रख भी मत उम्मीद इक गद्दार से
गालिब के दस शेर
ये आंसू जब निकलते हैं
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Saturday, December 19, 2020
उधर ही ले चलो कश्ती जहां तूफान आया है।
सुना है आज समंदर को बड़ा गुमान आया है,
उधर ही ले चलो कश्ती जहां तूफान आया है।
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