Monday, November 18, 2019

तेरे साथ शाम गुज़ार लूँ

मैं तमाम दिन का थका हुआ, तू तमाम शब का जगा हुआ..
ज़रा ठहर जा इसी मोड़ पर, तेरे साथ शाम गुज़ार लूँ! 

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