Sunday, July 9, 2023

अब तुम्हें हमारी चाहत की जरूरत नहीं

तुम्हारे चाहने वाले बहुत हैं

अब तुम्हें हमारी चाहत की जरूरत नहीं 

तुम्हें संभालने वाले बहुत हैं 
अब तुम्हें हमारी हौसले की जरूरत नहीं 

तुम्हारे दर्द बाटने वाले बहुत हैं 
अब तुम्हें हमारी बाहों की गरमाहट की जरूरत नहीं 

तुम्हारे चेहरे पर मुस्कान लाने वाले बहुत हैं 
अब तुम्हें हमारी प्यार भरी बातों की जरूरत नहीं 

तुम्हारे चोट पर मरहम लगाने वाले बहुत हैं 
अब तुम्हें प्यार से सहलाने के लिए 
हमारी हाथों की जरूरत नहीं 

तुम्हें अपनी अदाओं से अपना बनाने वाले बहुत हैं 
अब तुम्हें हमारी सादगी की जरूरत नहीं 

No comments: