Friday, July 22, 2022

अच्छी सूरत

​अच्छी सूरत को संवरने की जरूरत क्या है, 

सादगी में भी कयामत की अदा होती है!

Thursday, July 21, 2022

अनायास आंसुओं से मन भर रहा है

न जाने क्यों रोने का जी कर रहा है, 

अनायास आंसुओं से मन भर रहा है। 

क्या ये किसी दुर्घटना का पूर्वाभास है, 

या मन में बैठा कोई अनजाना अहसास है।

यशवंत यादव

Tuesday, July 12, 2022

शराब - 6 शायरों का अलग नजरिया.

एक ही विषय पर 6 शायरों का अलग नजरिया.... जरूर पढें :-


1- *Mirza Ghalib*: 1797-1869


"शराब पीने दे मस्जिद में बैठ कर,

या वो जगह बता जहाँ ख़ुदा नहीं।" 


....... इसका जवाब लगभग 100 साल बाद मोहम्मद इकबाल ने दिया...... 


2- *Iqbal*: 1877-1938


"मस्जिद ख़ुदा का घर है, पीने की जगह नहीं ,

काफिर के दिल में जा, वहाँ ख़ुदा नहीं।"


....... इसका जवाब फिर लगभग 70 साल बाद अहमद फराज़ ने दिया...... 


3- *Ahmad Faraz*: 1931-2008


"काफिर के दिल से आया हूँ मैं ये देख कर, 

खुदा मौजूद है वहाँ, पर उसे पता नहीं।"


....... इसका जवाब सालों बाद वसी ने दिया...... 


4- *Wasi*:1976-present


"खुदा तो मौजूद दुनिया में हर जगह है,

तू जन्नत में जा वहाँ पीना मना नहीं।"


वसी साहब की शायरी का जवाब साकी ने दिया 


5- *Saqi*: 1986-present


"पीता हूँ ग़म-ए-दुनिया भुलाने के लिए,

जन्नत में कौन सा ग़म है इसलिए वहाँ पीने में मजा नही।".....


में हमारे एक दोस्त  के हिसाब से - 


आज एक दोस्त ने कहा:-


"ला भाई दारू पिला, बकवास न यूँ बांचो,

जहाँ मर्ज़ी वही पिएंगे, भाड़ में जाएँ ये पांचों".....


😂🤣😜😝😆🍷🍺🍻🥃